चींटी देखी है आपने कितनी छोटी होती है कब किसके पैरो के नीचे कुचल जाए किन्तु सोच एक चीज़ हैं जो उसको मनुष्य से ऊपर उठाती हैं
खुद पिद्दी सी होती है लेकिन अपने से दस गुना भार उठाने का जुनून, एक सोच रखती है, कामयाब भी होती है, इसे बोलते हैं बड़ी सोच रखना।
इंसान छोटा अपने जन्म से नहीं अपितु सोच से होता हैं, जब सोच बड़ी हो तो बड़े बड़े आगे झुकेंगे आपके।।
कर बुलंद ख़ुदको इतना
कि ख़ुदा भी तुमसे पूछे
बोल तेरी रज़ा क्या हैं